बरसात के मौसम में हमारी दैनिक गतिविधियाँ कम हो जाती हैं और हम अधिकतर खाली समय अपने घर पर बिताते हैं, तो क्यों ना हम इस खाली समय का उपयोग एक रैनी गार्डन तैयार करने में करें, जिसमें आप अपने पसंदीदा फूलों, सब्जियों व हर्ब्स आदि के पौधों को गमले या ग्रो में लगा सकते हैं। यह एक अच्छा विचार होगा, क्योंकि बारिश का सीजन पेड़-पौधे उगाने का बिलकुल सही समय होता है, जिसमें नये पौधे तेजी से बढ़ते हैं और फलते-फूलते हैं। बारिश के दौरान आपको रैनी गार्डन बनाने के लिए कुछ तैयारियां करनी होगी, ताकि आपके पौधे स्वस्थ तरीके से बढ़ सकें। अगर आप पहली बार गार्डनिंग करने की शुरूआत कर रहे हैं, तो यह लेख आपके काफी काम आएगा, जिसमें आप बारिश या बरसात में होम गार्डन कैसे तैयार करें, के बारे में जानेंगे।
मानसून के मौसम में एक अच्छा होम गार्डन या टेरेस गार्डन तैयार करने के टिप्स व तरीके क्या हैं, के बारे में संपूर्ण जानकारी पाने के लिए आर्टिकल को पूरा पढ़ें।
बरसात के समय गार्डन तैयार करने के टिप्स – Tips For Making Home Garden In Rainy Season In Hindi
मानसून या बारिश के मौसम में आपके द्वारा बनाये गए रैनी सीजन गार्डन से आप लम्बे समय तक ताजे फल और सब्जियां प्राप्त कर सकते हैं, न केवल बारिश में बल्कि इसके बाद भी कई वर्षों तक आप इसमें अपनी पसंदीदा सब्जियां व अन्य पौधे उगा सकते हैं। मानसून गार्डन तैयार करने करने के लिए निम्न टिप्स व तरीके अपनाएं, जो इस प्रकार हैं।
- होम गार्डन तैयार करने के लिए सही स्थान चुनें
- गार्डनिंग टूल्स का उपयोग करें
- गार्डन के लिए अच्छी मिट्टी तैयार करें
- पौधे लगाने के लिए गमले या ग्रो बैग का इस्तेमाल करें
- अच्छी किस्म के बीज तथा पौधों का चुनाव करें
- मौसमी पौधों को गार्डन में लगाएं
- बीज अंकुरण तथा सीडलिंग की देखभाल करें
- मौसम के अनुसार पौधों को पानी दें
- तेज बारिश से पौधों की सुरक्षा करें
- रैनी सीजन गार्डन की नियमित रूप से देखभाल करें
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गार्डन तैयार करने के लिए एक स्थान चुनें – Choose A Location To Prepare Rainy Season Garden In Hindi
कई प्रकार के पौधों को उनकी किस्मों (Varieties) के अनुसार बढ़ने के लिए पूर्ण सूर्य या आंशिक धूप की आवश्यकता होती है, इसीलिए बरसात के समय गार्डन तैयार करने के लिए आप अपने घर के आँगन, टेरेस या बालकनी की उस जगह का इस्तेमाल कर सकते हैं, जहाँ रोजाना कम से कम 6-8 घंटे की धूप आती हो। इसके साथ ही ऐसे स्थान को चुनें, जहाँ तेज बारिश के कारण मिट्टी का कटाव व संकुचन न हो और पौधों को तेज हवाओं से भी बचाया जा सके।
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गमले या ग्रो बैग |
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पॉटिंग मिट्टी |
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गोबर खाद |
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वर्मीकम्पोस्ट |
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कोकोपीट |
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नीम तेल |
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स्प्रे पंप |
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वॉटर केन |
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शेड नेट |
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प्रूनर |
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स्टिकी ट्रैप |
आवश्यक गार्डनिंग टूल्स का उपयोग करें – Use Essential Gardening Tools In Monsoon Garden In Hindi
बागवानी उपकरणों का उपयोग बारिश के मौसम में बेहतर तरीके से गार्डन तैयार करने तथा पेड़-पौधे लगाने के काम को आसान बना देता है। रैनी सीजन गार्डन में मुख्य रूप से उपयोग किये जाने वाले टूल्स निम्न हैं, जैसे:
- हैंड ग्लव्स (Hand gloves)
- हैंड ट्रोवेल (Hand trowel)
- गार्डन फोर्क (garden fork)
- कल्टीवेटर 3 फिंगर (Hand Cultivator 3 Finger)
- हैंड वीडर (Hand weeder)
- वाटरिंग केन (Watering can)
- हाई प्रेशर गार्डन स्प्रे पम्प (Spray Pump) तथा
- प्रूनर (pruner)
उपरोक्त सभी टूल्स खुदाई, छंटाई, ट्रिमिंग, रेकिंग (raking), निराई आदि के लिए उपयोग किये जाते हैं, जो आपके गार्डनिंग के काम को सरल बनाने में आपकी मदद करते हैं।
(यह भी जानें: गार्डनिंग टूल्स और उनके उपयोग की जानकारी…)
रैनी सीजन गार्डन के लिए अच्छी मिट्टी का इस्तेमाल करें – Best Soil For Rainy Season Gardening In Hindi
बरसात के समय गार्डन तैयार करने के लिए एक अच्छी जल निकासी वाली मिट्टी का उपयोग करना सबसे महत्वपूर्ण होता है, क्योंकि ख़राब जल निकासी वाली दलदली व चिकनी मिट्टी के उपयोग से पौधों के आस-पास जलभराव की स्थिति बन सकती है, जिसके कारण पौधों की जड़ें सड़ने लगती हैं और पौधा मर सकता है। बारिश के समय पौधे लगे गमले या गार्डन की मिट्टी में जलभराव न हो, इसके लिए आप उचित जल निकासी वाली मिट्टी का उपयोग कर सकते हैं। अधिकांश पौधों को लगाने के लिए दोमट मिट्टी सबसे अच्छी मानी जाती है, जिसमें रेत तथा मिट्टी का मिश्रण होता है और इस मिट्टी की अच्छी जलधारण क्षमता होने के कारण पौधों में ओवरवाटरिंग की समस्या भी नहीं होती है। आप रैनी सीजन गार्डनिंग के लिए मिट्टी तैयार करते समय 30-40% दोमट मिट्टी में, 30% रेत और 30% जैविक खाद मिला सकते हैं।
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गार्डनिंग के लिए गमले का करें इस्तेमाल – Use Pot For Rain Time Gardening In Hindi
बारिश के समय गार्डन तैयार करते समय जमीन की मिट्टी में पौधे लगाने की अपेक्षा गमले या ग्रो बैग की मिट्टी में पौधा लगाना चाहिए, क्योंकि ऐसा करने से बहुत सारे फायदे हो सकते हैं। कंटेनर में पौधे लगाने से होने वाले लाभ निम्न हैं, जैसे:
- गमले में लगे पौधों को विपरीत मौसम तथा तेज बारिश से बचाने के लिए किसी सुरक्षित स्थान पर रखा जा सकता है।
- पॉट में अतिरिक्त जलनिकासी छिद्र होने के कारण इसमें ओवरवाटरिंग की समस्या नहीं होती है।
- अगर आपके पास गार्डन बनाने के लिए अधिक जगह नहीं है, तो आप गमले या ग्रो बैग्स का इस्तेमाल कर कम जगह में भी अधिक पेड़-पौधे लगा सकते हैं।
- आप पौधों के आकार के अनुसार छोटे या बड़े गमलों का इस्तेमाल कर सकते हैं।
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मौसमी पौधों को गार्डन में लगाएं – Grow Seasonal Plants During Rainy Season In Hindi
सभी सब्जियों तथा मौसमी फूल वाले पौधों को बीज से उगाया जाता है तथा प्रत्येक पौधे को बढ़ने के लिए अलग-अलग परिस्थितियों की जरूरत होती है, इसीलिए बारिश के समय तैयार गार्डन में पौधे लगाने से पहले उनकी ग्रोइंग कंडीशन (growing condition) तथा बीज लगाने के लिए सही समय का पता लगाना चाहिए। कुछ पौधे कम पानी व गर्म परिस्थितियों में उगना पसंद करते हैं, तो कुछ पर्याप्त पानी व आर्द्र जलवायु में अच्छी तरह बढ़ते हैं, इसीलिए बारिश में हमेशा गहरी और रेशेदार जड़ों वाले पौधे लगाना चाहिए, जो वर्षा जल को आसानी से अवशोषित करते हैं। आप बरसात के समय अपने होम गार्डन में निम्न पौधे लगा सकते हैं।
- सब्जियां – टमाटर, बैंगन, हरी मिर्च, खीरा, कद्दू, बीन्स इत्यादि।
- फल – जामुन, पपीता, अनार, केला, सेव, आलूबुखारा इत्यादि।
- फूल – सूरजमुखी, मोगरा, गुड़हल, चंपा का फूल, रेन लिली, कॉसमॉस इत्यादि।
- हर्ब्स – तुलसी, पुदीना, धनिया, मुलेठी, पार्सले, लेमनग्रास इत्यादि।
नोट – तेज बारिश से गार्डन की मिट्टी में होने वाले मृदा कटाव को रोकने के लिए झाड़ीदार पौधे लगाना सही होता है।
(यह भी जानें: बारिश के मौसम में गार्डन में लगाए जाने वाले पौधे…)
अच्छी किस्म के बीज तथा पौधों का चयन करें – Select Good Quality Seeds And Plants For Monsoon Gardening In Hindi
सफलतापूर्वक बीज अंकुरण प्रक्रिया तथा पौधे उगाने के लिए सबसे जरूरी होता है, अच्छी गुणवत्ता वाले बीजों का चयन करना। रेनी सीजन गार्डन में पौधे लगाने के लिए अच्छी किस्म के बीज खरीदना चाहिए। इसके अतिरिक्त अगर आप अपने गार्डन में तैयार किये हुए पौधे लगाना चाहते हैं, तो आप अपनी नजदीकी नर्सरी से पौधे खरीद सकते हैं। पौधे खरीदते समय ध्यान रखें कि, पौधा स्वस्थ व मजबूत तने वाला हो, ताकि गमले या गार्डन की मिट्टी में पौधे अच्छे से ग्रो हो सकें। अच्छी किस्म के बीज खरीदने लिए यहाँ क्लिक करें।
बीज अंकुरण तथा सीडलिंग की करें केयर – Care Of Seed Germination And Seedlings In Rain Time In Hindi
बरसात के समय बीज लगाने तथा पौध रोपण के बाद इनकी अतिरिक्त केयर करने की जरूरत होती है, ताकि तेज बारिश से बीज और सीडलिंग को कोई नुकसान न हो। मानसून में उचित रखरखाव न होने से भारी बारिश के कारण आपके द्वारा लगाये गए बीज मिट्टी से बाहर निकल सकते हैं तथा नन्हे, कोमल अंकुरित पौधे बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो सकते हैं, इसीलिए इन्हें गमले की मिट्टी में लगाकर सुरक्षित स्थान पर रखा जाना चाहिए। इसके अलावा आप लगे हुए सीड्स व सीडलिंग को रेन कवर से भी ढक सकते हैं।
(यह भी जानें: बीज जर्मिनेट होने के बाद ऐसे करें सीडलिंग की देखभाल…)
मौसम के अनुसार पौधों को पानी दें – Give Water To Plants According To Season In Hindi
गार्डन में पौधों को बारिश के मौसम में पानी देना वैकल्पिक होता है, इस समय पौधों को लगातार बरसात न होने पर या पौधे की मिट्टी सूखने पर पानी दिया जाता है, ताकि पौधों में ओवर वाटरिंग न हो। गर्मियों के समय अधिकांश पौधों को लगातार पानी की आवश्यकता होती है, ताकि वे स्वस्थ व हरे-भरे बने रहें तथा सर्दियों के समय आप पौधों को पानी देना कम कर सकते हैं। पौधों को पानी देते समय ध्यान रखें कि, मिट्टी अधिक सूखी या गीली नहीं होना चाहिए तथा गार्डन या गमले की मिट्टी में जलभराव से बचना चाहिए। पौधों को पानी देने के लिए आप वॉटर केन या स्प्रे पंप का इस्तेमाल कर सकते हैं।
(यह भी जानें: पौधों को पानी कब दें, जानें पानी देने का सही समय क्या है…)
तेज बारिश से पौधों को बचाएं – Protect Plants From Heavy Rain In Garden In Hindi
बारिश का मौसम पेड़-पौधों की ग्रोथ के लिए सबसे अच्छा समय होता है, लेकिन इस सीजन में पौधों की अतिरिक्त केयर करने की जरूरत होती है, ताकि वे स्वस्थ व सुरक्षित बढ़ सकें। मानसून के समय तेज बारिश से पौधों को बचाने के लिए निम्न टिप्स फॉलो करें, जैसे:
- गमले में लगे पौधों को ठण्डी व तेज हवाओं से बचाने के लिए सुरक्षित स्थान पर रखें।
- तेज बारिश से छोटे कोमल पौधों को बचाने के लिए रेन कवर से पौधों को छाया प्रदान करें।
- बरसात के समय पौधों को ओवरवाटरिंग की समस्या से बचाने के लिए अच्छी गुणवत्ता वाली मिट्टी तथा ड्रेनेज होल से युक्त गमले या ग्रो बैग्स का इस्तेमाल करें।
(यह भी जानें: बरसात के मौसम में अपने पौधों को ओवरवाटरिंग से कैसे बचाएं…)
गार्डन की नियमित रूप से करें देखभाल – Care Of Rainy Season Garden In Hindi
बरसात के समय आपको नियमित रूप से गार्डन की देखभाल करने की आवश्यकता होती है, ताकि आपके द्वारा बनाया गया होम गार्डन सुन्दर तथा पौधे स्वस्थ व हरे-भरे बने रहें। आप निम्न तरीके व टिप्स अपनाकर अपने गार्डन के पौधों की देखभाल कर सकते हैं।
- बरसात के समय पौधों पर कीट लगने व रोग संक्रमित होने की सम्भावना अधिक होती है, इसीलिए नियमित रूप से अपने पौधों की जाँच करें और किसी भी प्रकार के कीट लगने व रोग होने पर उचित पेस्टीसाइड या फंगीसाइड का इस्तेमाल करें।
- पौधे की पत्तियां पीली या मुरझाई हुई दिखाई देने पर या किसी भी भाग के संक्रमित पाये जाने पर प्रूनर की मदद से छंटाई करें।
- रैनी सीजन गार्डन में पौधों को ठोस खाद देना चाहिए, ताकि तेज बारिश के समय भी पौधों को पोषक तत्व मिल सकें। इसके अलावा बारिश रुकने के बाद आप पौधों पर फोलियर स्प्रे फर्टिलाइजर का उपयोग भी कर सकते हैं।
- लगातार होने वाली तेज बारिश के कारण मिट्टी में कटाव व संकुचन होने की सम्भावना होती है, अतः इसे रोकने के लिए गार्डन या गमले की मिट्टी में मल्चिंग करें।
- गार्डन में साफ-सफाई रखने तथा पोषक तत्वों की क्षति को रोकने के लिए समय-समय पर खरपतवारों को हटाते रहें, इसके लिए आप वीड रिमूविंग टूल्स का उपयोग कर सकते हैं।
- बरसात के दौरान मिट्टी शुष्क होने पर पौधों को पानी दें, लेकिन मिट्टी में जलभराव से बचें।
- पौधों को ऐसे स्थान पर रखें, जहां उन्हें आवश्यकता अनुसार धूप प्राप्त हो।
उपरोक्त आर्टिकल में आपने जाना कि, बरसात के समय होम गार्डन तैयार करने के लिए क्या करना चाहिए, ताकि एक अच्छा रैनी सीजन गार्डन तैयार किया जा सके। गार्डनिंग से जुड़े लेख पढ़ने के लिए Organicbazar.net पेज पर जाएं। इस लेख से संबंधित आपके जो भी सवाल या सुझाव हैं, हमें कमेंट में जरूर बताएं।