हर टमाटर प्रेमी जो गार्डनिंग का शौक रखते हैं अपने किचन गार्डन या टेरेस गार्डन में पके-पके लाल, रसदार टमाटर उगाना चाहते हैं, मगर टमाटर प्लांट में कोई न कोई रोग लग जाने के कारण टमाटर के पौधे खराब हो जाते हैं, तो आपको घर पर टमाटर का पौधा लगाने से पहले कुछ बातें जानने की आवश्यकता है, इस लेख में हम आपको टमाटर उगाने से संबंधित टिप्स के बारे में बताएंगे और जानेगें कि टमाटर की अच्छी पैदावार के लिए क्या करें व टमाटर के पौधे की ग्रोथ कैसे बढ़ाए तथा टमाटर के पौधे को तेजी से ग्रो करने की टिप्स क्या हैं।
घर पर टमाटर उगाने से संबंधित जानकारी – Tomato Growing Conditions in Hindi
गमले या ग्रो बैग में टमाटर उगाने से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारी निम्न है:
वानस्पतिक नाम |
सोलनम लाइकोपर्सिकम (Solanum lycopersicum) |
सामान्य नाम |
टमाटर |
पौधे का प्रकार |
वार्षिक सब्जी |
आकार |
3-6 फीट लंबा, 2-3 फीट चौड़ा |
टमाटर का पौधा लगाने का सही समय |
सामान्यतः गर्म जलवायु में वर्षभर व ग्रीष्म ऋतु |
मौसम |
गर्म वातावरण, फल बनने के दौरान भारी बारिश नुकसानदायक |
बीज लगाने की गहराई |
लगभग 0.5 सेंटीमीटर |
आवश्यक धूप |
पूर्ण सूर्यप्रकाश |
उपयोगी मिट्टी |
अच्छी जल निकास वाली रेतीली दोमट मिट्टी |
मृदा पीएच |
6.0-6.8 (थोड़ी अम्लीय) |
बीज अंकुरण का समय |
लगभग 7 से 10 दिन |
फल लगने का समय |
लगभग 60 से 70 दिन बाद |
आदर्श तापमान |
21-24°C |
घर पर टमाटर तेजी से ग्रो करने के टिप्स – Tomato fast growing tips in Hindi
अक्सर देखा गया है कि हमारे द्वारा घर पर उगाये गए टमाटर के पौधे अच्छी तरह से ग्रो नहीं कर पाते और समय के साथ नष्ट हो जाते हैं। यदि आप भी यही समस्या का सामना कर रहें हैं तो हम आपकों टमाटर के पौधे को तेजी से उगाने और अच्छी पैदावार प्राप्त करने से संबंधित कुछ आसान टिप्स के बारे में बताने जा रहें है, जिनको ध्यान में रखकर आप हरा भरा टमाटर का पौधा ग्रो कर सकेगें और ढेर सारे टमाटर तोड़ने को मिलेगें।
टमाटर की सबसे अच्छी किस्म लगाएं – Grow Best Tomato Varieties In Hindi
टमाटर की कुछ किस्में, अन्य किस्मों की तुलना में रोग के प्रति अधिक संवेदनशील होती हैं, इसलिए किचन गार्डन या होम गार्डन में टमाटर के पौधे लगाने के लिए सही किस्म खरीदें। गार्डन या गमले की मिट्टी में टमाटर लगाने के लिए ऐसी किस्मों का चयन करें, जो अर्ली ब्लाइट जैसी बीमारियों के लिए अच्छे प्रतिरोध का काम करती हों। टमाटर की किस्मों को जलवायु के अनुसार चुनें, ठंडे क्षेत्रों के लिए ठंडी जलवायु वाली किस्मों का चयन करें और बहुत गर्म क्षेत्रों के लिए गर्म जलवायु वाली किस्मों का चयन करें, ताकि वे हर सीजन में फल पैदा कर सकें।
गर्मी में उगने वाली टमाटर की उन्नत किस्में
- आयुष्मान टमाटर
- टमाटर NS-501
- अंसल टमाटर
- टमाटर US-440
- सिकंदर टमाटर आदि।
टमाटर की अन्य हाइब्रिड किस्में
- आयरन लेडी टमाटर
- डिफेंट टमाटर
- माउंटेन मैजिक टमाटर
- माउंटेन मेरिट टमाटर
- जैस्पर टमाटर, आदि।
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टमाटर के पौधे के लिए अच्छी मिट्टी – Best Soil For Growing Tomato Plants In Hindi
- गार्डन या गमले में लगे टमाटर के पौधे के लिए मिट्टी का आदर्श पीएच मान 6.0-6.8 है, यदि मिट्टी का पीएच 6.0 से कम हो तो आप उसमे चूना डालें और यदि पीएच 6.8 से अधिक है तो मिट्टी में जिप्सम मिलाएं।
- अच्छी तरह से जल निकासी वाली, थोड़ी अम्लीय मिट्टी में टमाटर के पौधे तेजी से ग्रो करते हैं।
- टमाटर के पौधे के लिए आदर्श मिट्टी बनाने के लिए 50% मिट्टी, 40% गाय के गोबर की खाद और 10% रेत को अच्छे से मिलाकर मिश्रण तैयार कर लें।
- आप टमाटर के पौधे लगाने के लिए पॉटिंग मिक्स (potting soil) का इस्तेमाल भी कर सकते हैं, पर सीधे गार्डन से खोदी गई मिट्टी का उपयोग करने से बचें।
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टमाटर उगाने के लिए आवश्यक तापमान व मौसम – Required Temperature to grow Tomato Plants In Hindi
घर पर होम गार्डन या टेरिस गार्डन में लगे टमाटर के पौधे ग्रो करने के लिए आदर्श तापमान 21-25°C होता है। टमाटर की प्रत्येक किस्म के साथ उनका पकने का टाइम भी अलग अलग होता है, लेकिन अधिकांश टमाटर शुरुआती वसंत में लगाए जाने पर देर से गर्मियों तक तोड़ने के लिए तैयार हो जाते हैं।
टमाटर गर्म मौसम के दौरान धीमी गति से बढ़ने वाली सब्जी है, जिसे गार्डन या गमले की मिट्टी में बीज से लगाने पर पूरी तरह से तैयार होने में लगभग 120 दिन तक का समय लग सकता है। यदि आप टमाटर के बीज लगाते हैं, तो उन्हें वसंत (फरवरी-मार्च) के आखिरी ठंड से 2 सप्ताह पहले घर के अंदर या बाहर लगा सकते हैं, लेकिन अत्यधिक धूप पड़ने पर आप इन्हें किसी सुरक्षित स्थान पर रख लें।
मिट्टी में टमाटर लगाने की विधि – Tomato Planting Method in soil In Hindi
- घर पर गमले में टमाटर लगाने के लिए गमले या ग्रो बैग का चयन करें, लेकिन इसमें उचित जल निकासी छिद्र होना चाहिए।
- गमले या ग्रो बैग में मिट्टी या पॉटिंग मिक्स भरें, लेकिन गमले को ऊपर से 2 से 3 खाली छोड़ें।
- आप टमाटर को सीडलिंग ट्रे में तैयार किए हुए पौधों से लगा सकते हैं।
- यदि आप डायरेक्ट मिट्टी में टमाटर के बीज लगा रहे हैं तो बीजों को एक दूसरे से 6 से 8 इंच की दूरी पर लगाएं।
- किचन गार्डन या टेरिस गार्डन में लगे टमाटर के पौधे जब 5 से 6 इन लंबे हो जाएं तो इन्हें उचित आकार के गमले या पॉट में ट्रांसप्लांट करें।
- टमाटर के पौधों को गार्डन की मिट्टी में अधिक गहराई तक लगाएं, जब इस तरह से पौधे लगाए जाते हैं, तो टमाटर अपने तनों के साथ जड़ें विकसित करने में सक्षम होते हैं और अधिक जड़ें एक मजबूत पौधे को बनाती हैं।
- यदि आप तैयार किए हुए टमाटर के पौधों को सीधे गार्डन में लगा रहे हैं, तो मिट्टी को सूखने न दें, क्योंकि पानी आसानी से वाष्पित हो सकता है और पौधों को नुकसान पहुंचा सकता है।
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गमले में टमाटर लगाने का सही तरीका – Best way To Grow Tomatoes In Pots In Hindi
आप अपने घर पर टमाटर के पौधे लगाना चाहते हैं लेकिन जगह की कमी होने के कारण आप पौधे नहीं लगा पा रहें हैं, तो उदास न हों, हम आपको बताएंगे कि आप कम जगह में भी गमले या ग्रो बैग में पौधे लगा सकते हैं और अपना सुंदर सा किचन गार्डन बना सकते हैं, आइये जानते हैं टमाटर के पौधे लगाने के तरीके के बारे में।
- टमाटर के पौधों को उगाने के लिए यदि आप गमले या ग्रो बैग्स का उपयोग कर रहे हैं, तो सुनिश्चित करें कि, आप बड़े बैग खरीदें और प्रति बैग केवल एक या दो टमाटर के पौधे लगाएं।
- मजबूत टमाटर के पौधे तथा बड़े टमाटर उगाने के लिए रोपाई के समय पौधे के दो-तिहाई हिस्से को गार्डन या गमले की मिट्टी में लगा दें।
- रोपाई के तुरंत बाद पौधे को पानी दें, ताकि जड़ें अच्छी तरह से जम जाएं।
- मिट्टी की ऊपरी परत को नम रखने के लिए हर दो दिन में एक बार पानी देते रहें, लेकिन मिट्टी में जलभराव से बचें।
पर्याप्त जगह में लगाये टमाटर – Tomato Plant Spacing In Pots In Hindi
यदि आप किचन गार्डन में बीज से टमाटर उगाना शुरू कर रहे हैं, तो अंकुरों को बाहर निकलने के लिए पर्याप्त जगह दें, क्योंकि कम जगह में अधिक बीज लगाने की स्थिति टमाटर के पौधे का विकास रुक सकता है। इसके अलावा बहुत सारे पौधे पास पास लगे होने से वायरस जैसे कि अर्ली ब्लाइट, कीट, और हॉर्नवॉर्म आदि टमाटर के पौधों को नुकसान पंहुचा सकते हैं तथा पौधों में कई प्रकार की बीमारी भी हो सकती हैं, क्योंकि पौधे पास पास होने के कारण अच्छा वायु परिसंचरण नहीं हो पाता, अतः पौधों को एक दूसरे से उचित दूरी पर लगाएं।
टमाटर को दें सही समय पर पानी – Watering Tomatoes Plants In Pots In Hindi
गमले या ग्रो बैग की मिट्टी में लगे टमाटर के पौधों को नमी की आवश्यकता होती है, इसलिए टमाटर के पौधों को विकास की स्थिति में गहराई से और नियमित रूप से पानी दें। आपके पौधों को प्रति सप्ताह कम से कम 1 इंच तक पानी मिले, लेकिन गर्म, शुष्क मौसम के दौरान उन्हें और अधिक पानी की जरूरत हो सकती है।
टमाटर के पौधे में पानी कब डालना चाहिए, यह जानने का सबसे अच्छा तरीका है कि, आप अपनी उंगली से पौधे लगे गार्डन की मिट्टी को छूकर देखें, यदि पहले दो इंच तक मिट्टी सूखी है, तो यह पौधे को पानी देने का समय है। पानी देने का सबसे अच्छा समय सुबह का होता है, जब पौधे नमी के लिए सबसे अधिक ग्रहणशील होते हैं।
(यह भी जानें: पौधों को पानी कब दें, जानें पानी देने का सही समय क्या है…)
टमाटर प्लांट के लिए पर्याप्त धूप की जरूरत – Sunlight Requirements For Tomatoes In Hindi
गार्डन में लगे टमाटर के पौधों को पर्याप्त रूप से बढ़ने व उत्पादन करने के लिए पूरे दिन धूप की आवश्यकता होती है, क्योंकि टमाटर पानी की तरह ही धूप को सोख लेते हैं। टमाटर के पौधे वास्तव में तब तक बढ़ना शुरू नहीं करेंगे, जब तक कि मिट्टी और हवा का तापमान गर्म न हो।
- आप टमाटर के पौधे लगाने से कुछ हफ़्ते पहले, रोपण क्षेत्र को काले या लाल प्लास्टिक से ढककर मिट्टी को गर्म कर सकते हैं।
- मिट्टी को गर्म करने का सबसे अच्छा विकल्प हर दिन 14 से 18 घंटे के लिए किसी प्रकार की कृत्रिम रोशनी का उपयोग करना है।
- वैसे तो टमाटर के पौधों को धूप में ही रखा जाता है, पर यदि धूप ज्यादा तेज हो तो आप टमाटर के पौधे लगे गमले या ग्रो बैग को इंडोर रख सकते हैं या पौधों को तेज धूप से बचाने के लिए शेड नेट का इस्तेमाल कर सकते हैं।
(यह भी जानें: टेरिस गार्डन के लिए शेड नेट के उपयोग और फायदे…)
टमाटर के पौधे का रोगों और कीटों से बचाव – Tomato Pests And Diseases And Their Control In Hindi
घर पर गमले या पॉट में लगे टमाटर के पौधों की देखभाल करने की जरुरत होती है, क्योंकि पौधों में विभिन्न प्रकार के कीट और रोग लग सकते हैं। आप टमाटर के पौधों को रोगों और कीटों से बचाने के लिए निम्न उपाय कर सकते हैं:
- लीफ माइनर कीट से टमाटर के पौधे को बचाने के लिए आप लौंग तेल का इस्तेमाल कर सकते हैं।
- पौधे की नियमित रूप से जांच करें और जहां कीटों की अधिक संख्या हो, टमाटर के पौधे से उस हिस्से को हटा दें।
- नीम तेल (neem oil) के इस्तेमाल से भी आप टमाटर के पौधों को कीटों और रोगों से बचा सकते हैं, पौधों को सुरक्षित रखने के लिए समय-समय पर नीम तेल का स्प्रे करें।
- साप्ताहिक रूप से पौधों पर कम्पोस्ट टी का छिड़काव भी टमाटर के पौधे से कवक रोगों को दूर करने में प्रभावी प्रतीत होता है।
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टमाटर के साथ अन्य पौधे लगाएं – Tomatoes Companion Plants In Hindi
तुलसी, लहसुन और प्याज, किचन गार्डन में टमाटर के सबसे अच्छे दोस्त हैं, क्योंकि ये पौधे नेमाटोड तथा अन्य कीटों को टमाटर के पौधे से दूर रखते हैं। मैरीगोल्ड के पौधे भी नेमाटोड जैसे कीटों को टमाटर के पौधों से दूर रखते हैं।
टमाटर के पौधों की करें छंटाई – Pruning Tomato Plants In Pots In Hindi
किचन गार्डन में लगे टमाटर के पौधे से निचले साइड पर जमीन से नजदीक लगे पत्ते हटा दें, ये सबसे पुराने पत्ते हैं और ये आमतौर पर फंगस की समस्याओं को विकसित करने वाली पत्तियां हैं। जैसे-जैसे पौधे बढ़ते हैं, निचली पत्तियों को कम से कम सूर्य और वायु प्रवाह मिलता है तथा ये पत्तियां जमीन के करीब होती हैं, इसलिए मिट्टी के रोगजनक आसानी से उन पर लग सकते हैं। इन्हें हटाने से फंगल रोगों को फैलने से रोकने में मदद मिलती है।
छंटाई टमाटर के स्वाद को भी प्रभावित करती है। सूरज की रोशनी को पकने वाले फल तक पहुंचने के लिए आप कुछ पत्तियों को अलग कर सकते हैं, लेकिन ज्यादा पत्ते भी न छांटे, क्योंकि पत्ते ही हैं जो प्रकाश संश्लेषण कर रहे हैं और शर्करा पैदा कर रहे हैं, जो आपके टमाटर को स्वाद देते हैं।
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टमाटर के पौधे से हटायें सकर्स – Removing Tomato Suckers In Hindi
घर पर टमाटर के पौधे ग्रो करने के दौरान मुख्य तने और लीफ नोड (गाँठ) के मध्य से छोटे पौधे अंकुरित होते हैं, यह छोटे अंकुरित पौधे जिन्हें सकर्स कहा जाता है, टमाटर के मुख्य तने को विकसित होने से रोकते हैं व खुद भी फल नहीं देते, अतः पौधों से “सकर्स” को हटाना जरूरी होता है, क्योंकि इनके हटने से पौधे में वायु परिसंचरण ठीक से होता है, और पौधे के मुख्य तने को मजबूत होने में मदद मिलती है। अगर आपके पौधों पर पत्ते इतने घने हैं कि, ताजी हवा पौधे के केंद्र तक नहीं पहुंच सकती है, तो निश्चित रूप से इन्हें काट देने की जरूरत है। साथ ही जो पत्तियां सूख गयीं हो, तथा पीली या ब्राउन कलर की हो चुकी हों, तो उन्हें भी काट कर अलग कर देना चाहिए।
टमाटर में करें जैव उर्वरक का उपयोग – Best Fertilizer For Tomato Plants In Hindi
- अतिरिक्त कैल्शियम के लिए अंडे के छिलकों को कुचल कर टमाटर के पौधे लगे गमले की मिट्टी में डाल सकते हैं।
- जब तक आपके पौधों में पीली पत्तियाँ न हों, तब तक उच्च नाइट्रोजन वाले उर्वरकों से दूर रहें। बहुत अधिक नाइट्रोजन रसीले पत्ते के विकास का कारण होगा, जो आपको बहुत कम या कोई फल नहीं देगा।
- यदि आपके पौधे की पत्तियाँ बैंगनी हैं, तो वे अधिक फास्फोरस की मांग कर रहीं हैं। यह फल उत्पादन के लिए सबसे महत्वपूर्ण पोषक तत्व है।
- एक और लोकप्रिय तरकीब है मिट्टी में एक चुटकी एप्सम सॉल्ट मिलाना। मौसम की शुरुआत में जोड़ा गया एप्सम सॉल्ट, अंकुरण, प्रारंभिक जड़, कोशिका विकास, प्रकाश संश्लेषण, और पौधों की वृद्धि को बढ़ा सकता है।
- पौधों को लिक्विड सीवीड या फिश इमल्शन फर्टिलाइजर भी दे सकते हैं।
- आप टमाटर के पौधों के विकास व वृद्धि के लिए वर्मीकम्पोस्ट, नीम केक, रॉक फॉस्फेट और मस्टर्ड केक का इस्तेमाल कर सकते हैं।
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मल्चिंग से रखें टमाटर प्लांट की नमी बरकरार – Best Mulch For Tomato Plants in Home garden in Hindi
तेज गर्मी में टमाटर के पौधों को अधिक पानी की जरुरत होती है, अतः आप टमाटर के पौधे लगे गमले की मिट्टी में नमी बनाए रखने के लिए पौधे के चारों ओर गीली घास की एक परत जोड़ सकते हैं, इसे ही मल्चिंग कहते हैं। मल्चिंग करने के लिए आप कंकड़, छाल, गीली घास और पुआल आदि का इस्तेमाल कर सकते हैं। आइये जानते हैं मल्चिंग से होने वाले फायदे के बारे में।
- मल्च मिट्टी से होने वाली बीमारियों को पौधों पर फैलने से रोकता है।
- टमाटर के पौधे में खरपतवारों को बढ़ने से रोकता है और नमी बरकरार रखता है, ताकि आपको अक्सर पानी न देना पड़े।
- यह मिट्टी को छाया और ठंडा भी करता है।
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टमाटर के पौधों को दें सहारा – Give Support To Tomato Plants In Hindi
- टमाटर के पौधे अनियंत्रित रूप से विकसित होते हैं व ये पौधे काफी बड़े हो जाते हैं। इन पौधों को सहारा देने के लिए मजबूत बांस की लकड़ी या लम्बे पिंजरों का उपयोग करें, या टमाटर के पौधों को रस्सी से बांधकर भी सहारा दिया जा सकता है।
बारिश के समय टमाटर की करें देखभाल – Protect Plants From Too Much Rain In Hindi
- भारी बारिश की संभावना से ठीक पहले लगभग सभी पके फलों को इकट्ठा करें, खासकर चेरी टमाटर, क्योंकि बारिश से फलों में दरार आ सकती है तथा तेज बारिश के कारण टमाटर के फल टूटकर गिर सकते हैं या या नष्ट भी हो सकते हैं।
निष्कर्ष – Conclusion
इस आर्टिकल में आपने टमाटर की किस्मों का चयन करना, टमाटर के प्लांट में उर्वरक का उपयोग, टमाटर में मल्चिंग, टमाटर के पौधे को सहारा देना टमाटर ग्रोइंग टिप्स के बारे में जाना। यदि आप गार्डनिंग से जुड़े हुए और भी उपयोगी पोस्ट पढ़ना चाहते हैं तो आप Organicbazar.net साईट पर विजिट कर सकते हैं। यदि इस आर्टिकल से जुड़े आपके सुझाव या सवाल हो तो कमेंट में जरूर बताएं।