कोको पीट खरीदने के लिए जब आप उसे गूगल पर सर्च करते हैं, तब कोको कॉयर (Coco Coir/Fiber) नाम से भी प्रोडक्ट जरूर दिखते होंगे। ये प्रोडक्ट कोकोपीट के समान ही दिखते हैं। लेकिन वास्तव में कोको पीट और कोको कॉयर दोनों एक ही चीज नहीं होते हैं, उनके बीच कुछ अंतर जरूर होता है। कोकोपीट जिसको कोको पिथ के नाम से भी जाना जाता है, नारियल के छिलकों या जटाओं की बारीक धूल होती है। जबकि कोको कॉयर नारियल के रेशों से बनाई जाती है। कोकोपीट और कॉयर के बीच कई अंतर होते हैं और उन दोनों को पौधों के लिए अलग-अलग तरीके से उपयोग किया जाता है जिनके बारे में आप इस लेख में जानेंगे।
कोको पीट और कोको कॉयर क्या हैं, इनके गार्डनिंग (पौधों के लिए) में क्या उपयोग हैं, इनका इस्तेमाल कैसे किया जाता है, एवं कोको पीट और कोको कॉयर के बीच क्या अंतर है, इसकी पूरी जानकारी आपको इस लेख में मिलेगी।
कोको पीट क्या होता है – What Is Coco Peat In Hindi
नारियल के रेशों या छिलकों (Coco Husk) को बारीक पीसने पर जो धूल या भूसी निकलती है उसे ही कोको पीट (Coco Peat) कहा जाता है। इसे कारखानों में बनाया जाता है और बाजार में यह कोको ब्रिक (Coco brick) या ब्लाक (Coco block) के रूप में बेची जाती है। इसे ही कोको डस्ट (Coco Dust) और कोको पिथ (Coco Pith) के नाम से जाना जाता है। कोको पीट की निम्न विशेषताएँ होती हैं:
- यह भुरभूरी होती है।
- अधिक पानी को सोखती है।
- हवा का प्रवाह बनाये रखती है।
(और पढ़ें: नारियल के छिलकों से इस तरह बनाएं कोकोपीट…)
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पौधों के लिए कोको पीट का उपयोग कैसे करते हैं – Uses Of Coco Peat In Gardening In Hindi
घर पर या बड़े स्तर पर बागवानी करने वाले लोग, पौधों के लिए कोकोपीट का उपयोग कई तरह से करते हैं जैसे:
1. बीज उगाने में – Coco Peat Is Used For Growing Seeds In Hind
कोकोपीट में नमी बनाये रखने की गजब की क्षमता होती है। इस वजह से इसमें सभी बीजों को उगाया या अंकुरित किया जा सकता है। बीजों को अंकुरित होने के लिए पोषक तत्वों की नहीं बल्कि नमी, हवा और सही तापमान की जरूरत होती है, ये सभी चीजें कोको पीट में बीज को आसानी से मिल जाती हैं।
(और पढ़ें: कोकोपीट क्या है, तथा इसमें बीज कैसे उगाएं…)
2. मिट्टी तैयार करने में – Coco Peat Is Mostly Used In Making Potting Mix In Hindi
कोको पीट, पाउडर के फॉर्म में होती है। इस वजह से इसे मिट्टी में मिलाया जाता है जिससे मिट्टी भी भुरभुरी हो जाती है। इस कोको डस्ट से तैयार मिट्टी कभी कड़क नहीं होती, जिस वजह से उसमें लगे पौधे हमेशा हरे-भरे रहते हैं।
(और पढ़ें: पौधे लगाने के लिए गमले की मिट्टी कैसे तैयार करें…)
कोको कॉयर क्या है – What Is Coco Coir In Hindi
जो नारियल हम पूजा में उपयोग करते हैं, उसके ऊपर जो छिलके या रेशे होते हैं, उन्हें ही कोको कॉयर कहा जा सकता है। जब पेड़ से नारियल के फल को तोड़ा जाता है, तब उसकी बाहरी परत और उसके अंदर पाए जाने वाले नारियल की परत के बीच का जो रेशे वाला भाग होता है, उसे ही कोको कॉयर/फाइबर या नारियल कॉयर कहते हैं। कोको कॉयर 2 तरह का आता है। पहला ब्राउन कलर का कोको फाइबर (Brown Coir Fibre) जो परिपक्व नारियल से बनता है और मजबूत होता है। इसी का बागवानी में ज्यादा इस्तेमाल होता है। दूसरा कोको कॉयर सफेद रंग का (White Coir Fibre) होता है, जो कच्चे या हरे नारियल से बनता है और यह कम मजबूत होता है। कोको फाइबर की निम्न विशेषताओं के कारण इसे गार्डन में यूज किया जाता है:
- यह रेशेदार होता है। इसमें से पानी आसानी से निकल जाता है।
- यह पानी को अवशोषित करके रख लेता है और पौधे को धीरे-धीरे प्रदान करता रहता है।
- यह हवादार होता है।
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गार्डन में कोको कॉयर का उपयोग कैसे करते हैं – How To Use Coconut Coir In Gardening In Hindi
कोको कॉयर को गार्डन में निम्न तरीके से इस्तेमाल किया जाता है जैसे:
1. मल्चिंग में – Coco Coir/Fiber Is Good For Mulching Plants In Hindi
कोको कॉयर को मल्च के रूप में सबसे अधिक उपयोग किया जाता है। आजकल ऑनलाइन साईट पर कोको मल्च (Coco Mulch) नाम से प्रोडक्ट बिकता है, जिसे सीधे पौधे की मिट्टी पर बिछा दिया जाता है। इससे पौधे की मिट्टी में नमी बनाए रखने में मदद मिलती है, खरपतवार नहीं उग पाती हैं, और पौधा देखने में भी अच्छा लगता है।
(और पढ़ें: मल्चिंग क्या है? अपने गार्डन को मल्च कैसे करें…)
2. हाइड्रोपोनिक खेती या गार्डनिंग में – Coco Coir Is Used In Hydroponics Farming In Hindi
पानी में पौधे उगाने की विधि को हाइड्रोपोनिक विधि कहा जाता है। इस विधि से पौधे उगाने के लिए भी कोको कॉयर का उपयोग किया जाता है। लेकिन कोको कॉयर में लगे पौधे में पोषक तत्वों की पूर्ती करना जरूरी होता है, क्योंकि इसमें कोई पोषक तत्व नहीं पाए जाते हैं।
3. पौधों को सहारा देने में – Coco Coir/Fiber Pole For Plants In Hindi
कोको कॉयर स्टिक (Coco Stick) या कोको पोल (Coco Coir Pole) नाम से डंडे बिकते हैं, जो 3-4 फीट ऊँचे पौधों को सहारा देने के काम में आते हैं। इनकी खासियत यह होती है कि इनके चारो ओर कोको कॉयर की मोटी परत होती है जो देखने में भी अच्छी लगती है और इससे पौधे की टहनियों को भी नमी मिल जाती है। मनी प्लांट जैसे पौधों के लिए इसका उपयोग किया जाता है।
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4. कोको कॉयर से गमले का निर्माण – Coco Coir Is Used To Make Pot In Hindi
आजकल कोको कॉयर के गमले (Pot) भी मार्केट में बिकने लगे हैं। आप इनमें भी पौधे उगा सकते हैं। ये देखने में अच्छे लगते हैं और इनमें लगे पौधे की जड़ों को भरपूर हवा मिलती है। कोको कॉयर के गमले सहित इन पौधे को गार्डन की मिट्टी में ट्रांसप्लांट भी कर सकते हैं।
(और पढ़ें: होम गार्डनिंग के लिए बेस्ट गमले और उनके प्रकार…)
कोको पीट और कोको कॉयर के बीच अंतर – Coco Peat Vs Coco Coir/Fiber In Hindi
चलिए जानते हैं कोको कॉयर और कोको पीट के बीच के अंतर को:
असमानताएं |
कोको कॉयर/फाइबर |
कोकोपीट |
निर्माण |
कोको कॉयर/फाइबर का निर्माण कोको नारियल के छिलकों से निकलने वाले रेशों से होता है। |
इसे बनाने के लिए नारियल के छिलकों की भूसी या धूल का उपयोग किया जाता है। |
रूप (Texture) |
रेशेदार (Fibrous) |
चूर्ण (Powder) के रूप में भुरभुरी (Grainy Texture) |
रंग (Color) |
सफ़ेद और ब्राउन |
ब्राउन |
अम्लीयता |
थोड़ी अम्लीय |
उदासीन (न्यूट्रल) |
पानी सोखने की क्षमता |
कोकोपीट से कम |
कोको कॉयर से ज्यादा |
पानी निकालने की क्षमता |
इसकी ड्रेनिंग कैपेसिटी यानि पानी निकालने की क्षमता बहुत अच्छी होती है। |
पानी निकालने की क्षमता अच्छी होती है। |
हवादार (Porous) |
कोको कॉयर ज्यादा हवादार (Porous) होती है। |
इसमें भी हवा का प्रवाह (Aeration) ठीक बना रहता है। |
अपघटन (decompose) |
यह कोको पीट की तुलना में धीमी गति से अपघटित होती है। इस वजह से यह लम्बे समय तक उपयोगी है। |
यह कोको कॉयर की अपेक्षा जल्दी विघटित हो जाता है। |
उपयोग |
मल्चिंग (Coco Mulch) में, मिट्टी बनाने और ज्यादा ऊंचाई वाले पौधे को सहारा (Coco Pole) देने, गमले बनाने (Coco Pot) और हाइड्रोफोनिक खेती के लिए उपयोगी। |
बीज उगाने, मिट्टी तैयार करने (Potting Mix) और मल्चिंग के लिए उपयोगी। |
कोको पीट और कॉयर से संबंधित अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न – FAQ About Coco Peat And Coco Coir In Hindi
1. कॉयर पिथ या कोको पिथ क्या है? – What Is Coco Coir Pith In Hindi
उत्तर – कोकोपीट को ही कोको पिथ (Coco pith) या कॉयर पिथ कहा जाता है।
2. कोकोनट हस्क क्या है? – What Is Coconut Husk Chips In Hindi
उत्तर – नारियल की परत के ऊपरी हिस्से के छोटे-छोटे टुकड़े, कोको हस्क (coco husk) या कोको चिप्स (coco chips) कहलाते हैं।
3. क्या कोको कॉयर को मिट्टी के साथ मिला सकते हैं? – Can You Mix Coco Coir With Potting Soil In Hindi
उत्तर – हाँ, कोको कॉयर को मिट्टी के साथ मिलाकर बेहतरीन पॉटिंग मिक्स बनाया जाता है।
इस लेख में आपने जाना कि कोको कॉयर और कोकोपीट क्या है, ये कैसे बनते हैं, गार्डनिंग में पौधों के लिए इनके क्या उपयोग हैं, कोको पीट और कोको कॉयर/फाइबर के बीच क्या अंतर है। कोको फाइबर और कोको पीट में अंतर को लेकर अगर आपका कोई भी सवाल या सुझाव हो, तो उसे कमेन्ट बॉक्स में जरूर लिखें।
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