मार्च में ऐसे रखें अपराजिता का ख्याल, अप्रैल में खूब खिलेंगे फूल!

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अपराजिता के फूलों को भारत के विभिन्न क्षेत्रों में विष्णुकांत और नीलकंठ सहित कई अलग-अलग नामों से जाना जाता है।

अपराजिता के फूलों का उपयोग बगीचे की सुंदरता बढ़ाने और देवी-देवताओं की पूजा के लिए किया जाता है।

अपराजिता के फूलों का हिंदू धर्म में बहुत महत्व बताया गया है इसके साथ यह स्वास्थ्य लाभ भी देता है। 

देखा जाए तो इसे बेल के रूप में उगने वाला पौधा आपके घर को खूबसूरत दिखाने में काफी मदद करता है।

मार्च का महीना शुरू हो चुका है, इसलिए अपराजिता की बेल को भी खास देखभाल की जरूरत होगी.

आप किसी भी एक प्लास्टिक की बाल्टी में 2-3 लीटर पानी लें और उसमें 200 ग्राम वर्मीकम्पोस्ट मिलाएं।

घोल तैयार करें:

अब आप इस मिक्सचर में 5 ग्राम सरसों की खली डालकर घोल को अच्छे से मिला लें।

सरसो खली मिलाएं:

आप इस तैयार मिक्सचर को अच्छे से घोल कर किसी जगह पर 1 हफ्ते के लिए ढककर रख दें।  

ढककर रख दें:

इसके बाद इस घोल को एक बार फिर से अच्छी तरह मिला लें और फिर इसे अपराजिता की जड़ में डाल दें।

जड़ में डाल दें: