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आज 14 फरवरी को वसंत पंचमी का पावन पर्व बड़े ही हर्षोल्लास के साथ मनाया जाएगा।
यह दिन ज्ञान और विद्या की देवी मां सरस्वती को समर्पित है जो सभी छात्रों और शिक्षकों के लिए बहुत खास है।
आज आप सभी अपने घर के पूजा पाठ में इन पौधों के फूलों का प्रयोग जरूर करना चाहिए।
सरसों के फूल भी वसंत ऋतु के आगमन का प्रतीक हैं, जिन्हें माता सरस्वती को अवश्य अर्पित करना चाहिए।
बसंत पंचमी के अवसर पर गेंदे के नारंगी, पीले फूलों का भी उपयोग किया जाता है।
कनेर के सफ़ेद फूल भी प्रसिद्ध रूप से बसंत पंचमी में खूब उपयोग किए जाते हैं।
पारिजात के सुगंधित फूल केवल रात में खिलते हैं और बसंत पंचमी के अवसर पर चढ़ाये जाते हैं।
चमेली के फूलों की सुगंध बहुत तेज होती है और इसका उपयोग बसंत पंचमी के दौरान किया जाता है।