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गर्मियों का मौसम जाने के बाद जब मानसून का मौसम आता है, तो उसके साथ आने वाली बारिश की बूँदें अपने साथ एक ताजी महक लाती है जो हमारे मन को एक अलग ही आनंद देती है।
यह बारिश केवल हमें ही नहीं बल्कि पेड़ पौधों में भी ताजगी लाती है और पौधे पहले से कहीं अधिक हरे-भरे दिखाई देने लगते हैं। पौधों के लिए वर्षा का पानी, नल के पानी की तुलना में अधिक लाभकारी होता है।
भिंडी विटामिन ए से भरपूर और कैलोरी में कम होती है। यह न केवल आपके आहार के लिए एक बढ़िया विकल्प है, बल्कि अपने खूबसूरत फूलों के कारण बारिश के मौसम में भी प्यारा लगता है।
करेला एक मई में बोई जाने वाली सब्जी है जो कि गर्मी-सहिष्णु होती है। करेले को उगाने के लिए आप इसके बीज गमले या फिर जमीन में बो सकते हैं।
भारतीय भोजन का स्वाद तब तक अधूरा रहता है जब तक आप इसे तीखी हरी मिर्च के साथ मसाला नहीं देते। हरी मिर्च उगाने के लिए मानसून का मौसम अच्छा है
बरसात में टमाटर उगाना बहुत आसान है। उत्तर भारत में बारिश के मौसम में टमाटर उगाने का अच्छा समय जून-अगस्त के बीच का होता है और दक्षिण भारत में जुलाई-अगस्त के बीच टमाटर लगाया जाता है।
आप पालक के पौधों को बरसात के मौसम में आसानी से घर पर उगा सकते है। आप पालक के बीजों को लेकर किसी गमले में लगभग ½ इंच गेहराई पर लगाएं।
धनिया एक ऐसी सब्जी है जिसके बिना खाने का स्वाद अधूरा होगा है। इसका इस्तेमाल हमारे देश के हर घर की रसोई में किया जाता है।
बैंगन आयरन, कैल्शियम और फाइबर से भरपूर होता है। यह दुनिया के कई व्यंजनों का मुख्य हिस्सा है। बरसात के मौसम में बैंगन के पौधों को अपने बगीचे में उगाना बहुत आसान है।
मानसून के सीजन में बीन्स को बोना बहुत ही आसान है, इसकी वजह से बिगिनर भी इसे अपने घर पर गार्डन में बीन्स को लगा सकते हैं। बीन्स बहुत पौष्टिक तत्वों से भरा हुआ है।
मानसून के मौसम में घर पर लौकी उगाने के लिए आप अच्छी किस्म का बीज लगाएं। इसके लिए आप एक बड़ा गमला या ग्रो बैग लेकर इसमें नीचे से छेद कर लें। अब 3-4 बीजों को 1-2 इंच की गेहराई पर लगाएं,